जिला जल एवं स्वच्छता समिति की बैठक की गई साथ ही साथ ठोस-तरल अपशिष्ट प्रबंधन के तहत किये जाने वाले कार्यो की प्रगति समीक्षा भी हुई

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समाहरणालय सभा कक्ष में जिला पदाधिकारी श्री प्रणव कुमार की अध्यक्षता में हुए इस बैठक में उप विकास आयुक्त श्री आशुतोष द्विवेदी ने कहा कि कई प्रखंडों में एसएलडब्लूएम के तहत की जाने वाले कार्य अभी भी लंबित है। इसे अविलंब पूरा करने का निदेश दिया गया । मानव बल की नियुक्ति, स्वच्छता पर्यवेक्षक का चयन, पैदल एवं इलेक्ट्राॅनिक रिक्शा का क्रय आदि कार्य लगभग सभी प्रखंडों कर लिये गये है। ठोस कचरा प्रसंस्करण इकाई का निर्माण में तेजी लाने का भी निदेश दिया गया । एनओसी उपलब्ध नहीं कराने वाले अंचलाधिकारी को अविलंब एनओसी देने को कहा गया। किसी भी परिस्थिति में रैयती जमीन पर कचरा प्रसंस्करण इकाई का निर्माण नहीं करना है। इसी प्रकार तरल कचरा प्रबंधन इकाई में जंक्शन चैम्बर, सोक पिट का निर्माण एलएसबीए द्वारा किया जाना है। कार्य की स्वीकृति होने पर अनिवार्य रूप से जियो टैगिंग करने का निदेश दिया गया है। इसके अतिरिक्त गोवर्धन योजना की जानकारी दी गई। जिसके तहत प्रतिदिन 1500 किलो गोबर संग्रहण कर गोबर गैस का निर्माण किया जाता है। जिससे 25-30 परिवार का प्रतिदिन का भोजन तैयार किया जा सकता है। सकरा बीडीओ ने प्लास्टिक अपशिष्ट प्रबंधन इकाई स्थापित करने की विभिन्न प्रक्रियाओं को पीपीटी के माध्यम से बताया । गौरवतलब है कि बिहार का पहला जिला जहाँ इस तरह की इकाई की स्थापना की गई है। बैठक में अपर समाहर्ता श्री संजीव कुमार, उप विकास आयुक्त श्री आशुतोष द्विवेदी, निदेशक डीआरडीए श्री चंदन चैहान, पंचायती राज पदाधिकारी श्रीमति सुषमा कुमारी एवं जिला जन सम्पर्क पदाधिकरी श्री दिनेश कुमार उपस्थित थे।